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नक्सल गढ़ में किसी शिक्षक की पोस्टिंग नही कागजों में दर्ज हैं दस बच्चे

अनादि न्यूज़ डॉट कॉम,

दंतेवाड़ा। छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में एक ऐसा स्कूल सामने आया है, जहां दो साल से स्कूल की घंटी ही नहीं बजी। नक्सल गढ़ के इस स्कूल में केवल नाम के दस बच्चे कागजों में दर्ज है। पूरा मामला दंतेवाड़ा के कटेकल्याण ब्लाक के बड़े बेडमा ग्राम पंचायत के आश्रित ग्राम पंचायत किडरीरास प्राथमिक शाला का है। इस प्राथमिक शाला में दो साल से स्कूल का संचालन बंद है पर कागजों में बच्चे पढ़ रहे हैं, और शिक्षा विभाग की सारी गतिविधियां कागजों में ही चल रहीं है। किडरीरास प्राथमिक शाला में राजू, अनिल, बिरजू, जोगा, रितो, देवा जैसे बच्चों के नाम स्कूल के रजिस्टर में दर्ज हैं। शिक्षा विभाग इन मासूम बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ कर रहा है

 

 

 

 

 

 

 

 

किडरीरास प्राथमिक शाला में पहले एक शिक्षक की नियुक्ति हुई थी, पर उस शिक्षक ने जुगाड़ लगाया और ट्राइवल विभाग के बेडमा आश्रम के अधीक्षक बन गए। जिसके बाद से स्कूल शिक्षक विहीन हो गया और गांव के बच्चों की पढ़ाई छूट गई। अब गांव के बच्चे गांव में मवेशी चराने का काम कर रहें हैं। वार्ड पंच पाकलु ने बताया जिला शिक्षा अधिकारी को भी स्कूल में शिक्षक देने की मांग कर चुके हैं पर अधिकारी ध्यान नहीं दे रहें है। कटेकल्याण के जनपद उपाअध्यछ जितेंद्र सोरी ने बताया दो साल से स्कूल बंद है इसकी जानकारी शिक्षा विभाग को भी है पर उनके द्वारा यंहा शिक्षक की पोस्टिंग नहीं की जा रही है।

शिक्षा के मंदिर में लिखे हुए है सरकार विरोधी नारे

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बिना शिक्षक वाले प्राथमिक शाला किडरीरास में स्कूल के चार्ट में सरकार विरोधी नारे लिखे हुए हैं। साथ ही चुनाव बहिष्कार की भी बात लिखी हुई है। चार्ट में लिखे हुए शासन विरोधी नारे ये साबित कर रहें है कि स्कूल में लंबे समय से कोई भी शिक्षा संबंधित गतिविधियां नहीं चल रहीं है। ब्लैक बोर्ड पर शाला प्रवेश उत्सव लिखा हुआ है। ग्रामीणों ने बताया दूसरे स्कूल के शिक्षक आए थे जिनके द्वारा ब्लैक बोर्ड पर लिखा गया है। यंहा कोई शाला प्रवेश उत्सव नहीं हुआ है। गांव के किसी भी बच्चे का नए शिक्षा सत्र में दाखिला नहीं हुआ है।

जर्जर हालत में स्कूल मरम्मत भी नहीं हुई

यह स्कूल खुद की और शिक्षा विभाग की पोल खुद ही खोल रहा है। किडरीरास स्कूल की छत में लगी सीट टूटी हुई है। स्कूल में चारों तरफ पानी भरा हुआ है। बंद स्कूल में बकरी और मवेशियों का डेरा बन गया है। ग्रामीणों ने कहा स्कूल बंद नहीं होने देंगे। चाहे इसके लिए हमको आंदोलन ही क्यों न करना पड़े। किडरीरास के ग्रामीणों ने गांव से निकल कर पालनार की मुख्य सड़क पर धरने में बैठने की चेतवनी तक दे डाली है।

जिला शिक्षा अधिकारी प्रमोद ठाकुर का कहना है कि इस मामले की जानकारी पता करते हैं। जल्द शिक्षक की व्यवस्था की जाएगी। इसके साथ ही स्कूल की मरम्मत का टेंडर आरईएस से हुआ है जल्द मरम्मत कार्य होगा।