मुंगेली उपजेल के बैरक क्रमांक तीन में बंद कैदियों ने ताला तोड़कर अपने गमछे के सहारे जेल की दीवार फांदकर भाग निकले। इस दौरान प्रहरी व लंबरदार सो रहे थे। इस घटना के बाद जेल में हड़कंप मच गया है। गंभीर लापरवाही बरतने वाले दो प्रहरियों को जेलर ने निलंबित कर दिया। वहीं मामले की सूचना मिलते ही जेल मुख्यालय से एआइजी जांच के लिए पहुंचे।
धनतेरस पर्व पर मुंगेली शहर पटाखों की शोर से गूंज रहा था। वहीं, जेल में बंद विचाराधीन बंदी भागने की प्लानिंग कर रहे थे। हत्या, गांजा तस्करी, दुष्कर्म व चोरी के आरोपितों को रात में जैसे ही मौका मिला बैरक का ताला तोड़कर गमछे के सहारे जेल की दीवार कूदकर भाग निकले। इस दौरान सुरक्षा के लिए तैनात जेलकर्मी गहरी नींद में थे और उन्हें ताला टूटने की भनक तक नहीं लगी। जानकारी के अनुसार बेलगहना क्षेत्र के खोंगसरा निवासी तरुण उर्फ छोटू उर्फ रितेश पिता विष्णु नाबालिग को बहलाकर ले जाने व दुष्कर्म का आरोपित है। वहीं मध्यप्रदेश के रीवा के गुढ़ क्षेत्र के दुआरी निवासी धीरज पिता राममिलन मरार षडयंत्र कर हत्या, लोरमी क्षेत्र के सिलतरा निवासी इंद्रध्वज पिता अश्वनी सतनामी चोरी और जरहागांव क्षेत्र के सेमरचुआं निवासी सुरेश पटेल पिता खेमलाल मरार गांजा तस्करी के मामले में मुंगेली उपजेल में बंद थे। रात में सभी एक ही बैरक में सो रहे थे। इस बीच जैसे ही उनकी सुरक्षा में तैनात प्रहरी कमल साहू व केतन साहू सोने के लिए गए। तभी मौका पाकर चारों बंदियों ने बैरक का ताला तोड़ दिया। फिर गमछे को दीवार में बांधकर कूद-कूदकर भाग निकले। कैदियों के फरार होने की खबर मिलते ही जेल प्रशासन में हड़कंप मच गया। शुरुआत में जेल के स्टॉफ ही बंदियों की तलाश करते रहे। लेकिन, उनका पता नहीं चलने पर इसकी सूचना कोतवाली पुलिस के साथ ही आला अधिकारियों को दी गई। पुलिस ने भी उनकी तलाश के लिए नाकेबंदी कराई। लेकिन, फरार बंदियों का कुछ पता नहीं चला। इस मामले में जेल प्रशासन की बड़ी लापरवाही सामने आई है। यही वजह है कि जेलर ने मामले में अपनी खामियां छिपाने के लिए ड्यूटी में तैनात दोनों प्रहरी कमल व केतन को निलंबित कर दिया। इधर, जेल मुख्यालय तक विचाराधीन बंदियों के फरार होने की खबर मिलते ही हड़कंप मच गया। जेल मुख्यालय से एआइजी एसएस तिग्गा मामले की जांच के लिए मुंगेली उपजेल पहुंचे। उनके साथ कलेक्टर एसएन भूरे समेत अन्य अधिकारी मौजूद रहे।