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अपराध-दुष्कर्म के मामलों में हर दिन नए रिकॉर्ड बना रहा है छत्तीसगढ़ : बृजमोहन अग्रवाल

रायपुर। छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में भिलाई की छात्रा की बेरहमी से हत्या कर दी गई। इस मामले पर पूर्व मंत्री व विधायक बृजमोहन अग्रवाल ने कांग्रेस सरकार पर जमकर निशाना साधा है। कहा कि कांग्रेस शासन में अपराध का ग्राफ लगातार बढ़ रहा है, अपराधियों में कानून का जरा भी खौफ नहीं रहा। वहीं एक दूसरी घटना में कोरबा जिले की विवाहित महिला के साथ दिनदहाड़े घर में घुसकर रेप की कोशिश की वारदात को लेकर भी पूर्व मंत्री ने सरकार को घेरा। दरअसल इस घटना में महिला ने जब विरोध किया तो उसे मारा-पीटा गया।

इस सारी घटना के बाद महिला ने शर्म के मारे जहर खाकर अपनी जान देने की कोशिश की। विधायक बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि प्रदेश की कानून व्यवस्था चौपट है इसी वजह से हर दिन ऐसी घटनाएं घट रही है। प्रदेश की सरकार महिला दुष्कर्म के मामलों को रोकने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठा रही है। वहीं, अबूझमाड़-ओरछा आश्रम की शालाओं से 4 आदिवासी छात्राओं के लापता होने की घटना पर भी कड़ी प्रतिक्रिया दी, कहा कि छात्राएं पिछले एक सप्ताह से लापता है, मगर शासन-प्रशासन इस मामले को लेकर गंभीर नहीं है, अब तक उन बेटियों के बारे में किसी को कोई खबर नहीं है, न उन्हें खोजने के लिए गंभीरता से कोई सख्त कदम उठाए जा रहे हैं। इन सभी मामलों पर प्रदेश सरकार को घेरते हुए पूर्व मंत्री बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि, अपराध और महिला दुष्कर्म के मामले में हमारा प्रदेश दिन पर दिन नए रिकॉर्ड बना रहा है। उन्होंने कहा कि लचर कानून व्यवस्था के चलते हर दिन 3 अनाचार की घटनाएं सामने आ रहीं है।

दुष्कर्म की घटनाओं का ग्राफ लगातार बढ़ता जा रहा है। बेटियों की सुरक्षा में पूरी तरह फेल कांग्रेस सरकार को क्या शर्म नहीं आती है..?? अग्रवाल ने आगे यह भी कहा कि बीते तीन वर्षों के कांग्रेस शासनकाल में 3 लाख से ज्यादा अपराधिक मामले रजिस्टर हुए हैं। प्रदेश में चार हजार से भी अधिक दुष्कर्म के मामले सामने आ चुके है। 1600 से भी अधिक यौन उत्पीड़न के मामले दर्ज किए जा चुके है। पॉस्को एक्ट में 2361 केस दर्ज किए गए है यानी महिलाएं, बच्चे कोई सुरक्षित नहीं है। पूरी तरह से प्रदेश में कानून व्यवस्था पूरी तरह चौपट करने वाली भूपेश बघेल की सरकार को अब एक दिन भी सत्ता संभालने का अधिकार नहीं है। अग्रवाल प्रदेश सरकार की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए यह कहा कि जिस प्रदेश का मुखिया अपने प्रदेश की बहन-बेटियों की लुटती इज्जत को न बचा सके, उसे कुर्सी पर बैठे रहने का कोई अधिकार नहीं। उन्होंने कहा कि जिस तरह के हालात इस समय प्रदेश में है, माताएं-बहने डरी और सहमी हुईं है। हर वर्ग को इस सरकार से नाउम्मीदगी मिली है, जनता में हाहाकार मचा है। मुख्यमंत्री जी के अंदर अगर जरा सी भी शर्म बची है तो उन्हें खुद से अपना पद छोड़ देना चाहिए।

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